Hindi

समाज में होमोफोबिया क्यों?

"आप कुछ लड़कियों जैसी हरकतें करते हैं, वो क्या कहते हैं उनको? हाँ! गे जैसे हैं आपके हावभाव। मैं मिंटू को यहां नहीं पढ़ा सकती। ये बच्चा है अभी, और थर्ड क्लास में ही है, फिर इसपर भी असर पड़ सकता है ऐसी बातों का।" ऐसे कई उदाहरण से हम ज़िंदगी भर ओतप्... Read More...

कहानी: एक थी मीरा

हमे हमारे प्यार की परिणिति पता थी, उसके बावजूद हमने आपको चाहा और बेइंतहा चाहा, और वो हमारे लिए टाइमपास बिल्कुल नहीं था

कविता: हम उनको जगाते हैं

समलैंगिक संबंध और शादी ही नहीं, शिक्षा और रोज़गार का गीत गुनगुनाते हैं, बहुत सो चुके हैं लोग, अब हम उनको जगाते हैं I

कविता: उम्मीद

मेरे तकिए की नमी ये गवाह देती है कि, टूटके, बिखरके, मैं कैसे सिमटता हूँ

समलैंगिक पीड़

मीठा कहते है लोग पर, आता नहीं कोई प्रेम की मीठी खीर लेके

कविता: गे देटिंग एप्प

हरकोई यहाँ पे सेक्स के लिए नहीं होता, कोई होता सच्चे दोस्त ओर अपने साथी के तलाश के लिए

कविता: एक सिमटती हुई पहचान

मिल गई हमें सांवैधानिक सौगात, तीसरे दर्जे के रूप में, आखिर कब मिलेंगे बुनियादी अधिकार, भारतीय नागरिक के स्वरूप में?