जरुरत हैं की आप और हम जैसे लोग भी समाज के मुख्य धारा में इन्हे अपनायें; ताकि ये लोग भी कंधे से कंधा मिलाकर इस महान भारत की प्रगति में अपना योगदान दे सके
बहुत कोशिश करता था खुद को बदलने की, लड़को की तरह रहने की, चलने की, बात करने की पर हर बार मैं वही हरकत करता जो मुझे अछी लगती। इस वजह से स्कूल में हँसी का पात्र बन गया
हर आयु के पुरुषों में सेक्स संबंधी समस्याएँ होना आम बात है। पुरुषों में पायी जाने वाली आम दिक़्क़तें हैं- शीघ्रपतन और दीर्घ पतन- या तो बहुत जल्दी स्खलन हो जाना या फिर ज़रूरत से अधिक समय लगना।
विजय की सहनशक्ति तब खत्म हुई जब हर कोई उसे चिढ़ाने लगा, कोई कहता था "तू इस कॉलेज से चला जा तेरे जैसों का यहाँ कोई काम नहीं" तो कोई उसके सामने "ए छक्के" कहकर चिढ़ाता था।