यूएनएड्स और एलजीबीटी फाउंडेशन ने एलजीबीटीआई लोगों के लिए खुशी, सेक्स और जीवन की गुणवत्ता का मूल्यांकन करने के लिए एक ऑनलाइन सर्वेक्षण शुरू किया है। यह सर्वेक्षण अपनी तरह का पहला, एलजीबीटीआई लोगों के सामने आने वाली चुनौतियों में अधिक जानकारी और अंतर्दृष्टि हासिल करने के लिए एक अभियान का हिस्सा है। एकत्र किए गए तथ्य से एलजीबीटीआई लोगों की स्थितियों और उपचार में सुधार के लिए चिंताओं और वकालत करने में मदद मिलेगी, जिसमें समावेशी स्वास्थ्य और सामाजिक सेवाओं तक पहुंच सुनिश्चित करना शामिल है।

“कई गे एवं लेस्बियन(अर्थात समलैंगिक पुरूष एवं स्त्रियाँ), द्विलिंगी, ट्रांसजेंडर और इंटरसेक्स (एलजीबीटीआई) लोग शिक्षा, काम, स्वास्थ्य और सामाजिक परिवेश में कलंक और भेदभाव का सामना करते हैं। हम यह समझना चाहते हैं कि यह किस तरह से जीवन की गुणवत्ता को प्रभावित करता है, जिसमें मानसिक स्वास्थ्य भी शामिल है, और उनकी प्रतिक्रियाएं और शालीनता भी,” गनीला कार्ल्ससन, यूएनएड्स के कार्यकारी निर्देशक ने कहा। “गहराई से जाँच करने पर कि आर्थिक, सामाजिक, होमोफोबिक और अन्य घटनायें एलजीबीटीआई लोगों के जीवन को कैसे प्रभावित करते हैं, हम उनके जीवन में सुधार के लिए, सार्थक बदलाव के लिए और अधिक मजबूती से वकालत करने में सक्षम होंगे।”

अनुमान बताते हैं कि समलैंगिक पुरुषों और अन्य पुरुषों के साथ यौन संबंध बनाने वाले पुरुषों में एचआईवी संक्रमण का खतरा 27 गुना अधिक है, और यह खतरा ट्रांसजेंडर लोगों में 13 गुना ज़्यादा है

एलजीबीटीआई के लोगों को भेदभाव का सामना करना पड़ता है और अक्सर आर्थिक अवसरों की कमी और स्वास्थ्य और सामाजिक देखभाल तक पहुंच की कमी का भी सामना करना पड़ता है। उन्हें एचआईवी संक्रमण का बहुत अधिक खतरा है। अनुमान बताते हैं कि समलैंगिक पुरुषों और अन्य पुरुषों के साथ यौन संबंध बनाने वाले पुरुषों में एचआईवी संक्रमण का खतरा 27 गुना अधिक है, और यह खतरा ट्रांसजेंडर लोगों में 13 गुना ज़्यादा है । फिर भी अध्ययन से पता चलता है कि कई समलैंगिक पुरुष और अन्य पुरुष जो पुरुषों और ट्रांसजेंडर लोगों के साथ यौन संबंध रखते हैं, भेदभाव के डर से स्वास्थ्य सेवाओं की माँग करने से झिझकते हैं।

हालाँकि ऐसे अन्य अध्ययन हैं जो हिंसा के स्तर, कानूनी स्थिति और स्वास्थ्य – अक्सर एचआईवी जोखिम और स्थिति- को मापने के माध्यम से एलजीबीटीआई लोगों की भलाई का मूल्यांकन करते हैं, ऐसे बहुत कम अध्ययन हैं जो एलजीबीटीआई लोगों की मानसिक स्वास्थ्य पर कुछ प्रकाश डालते हैं, जो उनके समग्र स्वास्थ्य और आर्थिक अवसरों तक पहुंच को सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक है ।अफ्रीका, एशिया और लैटिन अमेरिका के एलजीबीटीआई लोगों पर भी डेटा की कमी है, जो सर्वेक्षण संबोधित करने की उम्मीद करता है। 17 से अधिक भाषाओं में उपलब्ध, यह सर्वेक्षण सोशल मीडिया के माध्यम से दुनिया भर के 2.5 करोड़ से अधिक लोगों को वितरित किया गया है और जुलाई 2019 के अंत तक चलेगा।

“हम समलैंगिक स्त्री और पुरूषों, द्विलिंगी, ट्रांसजेंडर और इंटरसेक्स (एलजीबीटीआई) स्वास्थ्य और कल्याण में प्रगति चाहते हैं और यह सर्वेक्षण इस दिशा में मदद करेगा। यह एक शानदार पहल है, जहां एलजीबीटीआई लोग गोपनीय रूप से बोल सकते हैं और ज्ञान का निर्माण कर सकते हैं, जन ​​जागरूकता बढ़ा सकते हैं और वकालत कर सकते हैं। हमारा लक्ष्य एलजीबीटीआई लोगों के खिलाफ भेदभाव को समाप्त करने का है।  यह समुदाय के लिए अत्यंत उपयोगी होगा,” एलजीबीटी फाउंडेशन के मुख्य कार्यकारी अधिकारी शॉन हॉवेल ने कहा।

 17 से अधिक भाषाओं में उपलब्ध, यह सर्वेक्षण सोशल मीडिया के माध्यम से दुनिया भर के 2.5 करोड़ से अधिक लोगों को वितरित किया गया है और जुलाई 2019 के अंत तक चलेगा।

सर्वेक्षण ऐक्स-मार्सिले यूनिवर्सिटी और मिनेसोटा विश्वविद्यालय के सहयोग से विकसित किया गया था और इसे एलजीबीटीआई समुदाय के प्रतिनिधियों के सहयोग से तैयार किया गया था, जिसमें HIV से पीड़ित लोग भी शामिल थे। गोपनीयता के संबंध में उच्चतम मानकों और व्यक्तिगत डेटा की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए, सर्वेक्षण जनरल डेटा प्रोटेक्शन रेगुलेशन का पालन करता है।

गुमनामी को सुरक्षित रखने और उसका बचाव करने के लिए, सुरक्षित वेबलिंक के माध्यम से पहुंच प्रदान की जाती है, जो वेब सर्वर और ब्राउज़र के बीच एक एन्क्रिप्टेड लिंक स्थापित करता है। सर्वेक्षण के लिए अनुसंधान प्रोटोकॉल को ऐक्स-मार्सिले यूनिवर्सिटी के रिसर्च बोर्ड ऑफ एथिक्स और विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिसर्च एथिक्स रिव्यू कमेटी द्वारा अनुमोदित किया गया है।

यह सर्वेक्षण 31 जुलाई 2019 तक भागीदारी के लिए खुला है और  इसे पूरा होने में लगभग 12 मिनट लगते हैं।

सर्वेक्षण में भाग लेने की लिए इस पर क्लिक करें : https://www.research.net/r/LGBTHappinessResearch?lang=hi